पाकिस्तान में 100 KM अंदर तक मार : भारत ने आतंकवाद के खिलाफ एक बड़ा और साहसिक कदम उठाते हुए मंगलवार देर रात डेढ़ बजे “ऑपरेशन सिंदूर” के तहत पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (पीओके) के अंदर 9 आतंकी ठिकानों पर जोरदार एयर स्ट्राइक की। यह ऑपरेशन भारतीय सेना, वायुसेना और नौसेना के संयुक्त प्रयास का परिणाम था, जिसमें आतंक के गढ़ों को निशाना बनाकर उन्हें पूरी तरह तबाह कर दिया गया।
ऑपरेशन सिंदूर: एक संयुक्त सैन्य कार्रवाई
इस मिशन को “ऑपरेशन सिंदूर” नाम दिया गया, जो भारत की तीनों सेनाओं के तालमेल और उच्च स्तरीय खुफिया रणनीति का परिचायक है। इस ऑपरेशन की खास बात यह रही कि इसमें भारतीय खुफिया एजेंसी RAW की सक्रिय भूमिका रही। RAW ने महीनों पहले ही पाकिस्तान और पीओके में सक्रिय लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद जैसे आतंकी संगठनों के ठिकानों की पहचान कर ली थी। इनपुट मिलने के बाद सेना ने सुनियोजित तरीके से इन ठिकानों पर हमला करने की योजना बनाई।
9 आतंकी ठिकाने: कहां-कहां किया गया हमला?
एयर स्ट्राइक में कुल 9 आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया गया—पाकिस्तान के भीतर 4 और पीओके में 5। इन सभी ठिकानों पर या तो लश्कर-ए-तैयबा का कब्जा था या जैश-ए-मोहम्मद का संचालन। नीचे उन स्थानों की जानकारी दी जा रही है जहां हमला किया गया:
पाकिस्तान के अंदर
1. Bahawalpur (बावलपुर) – जैश-ए-मोहम्मद का मुख्यालय, यहां आत्मघाती हमलावरों को प्रशिक्षित किया जाता था।
2. Multan (मुल्तान) – हथियारों के भंडारण और फंडिंग गतिविधियों का केंद्र।
3. Muridke (मुरीदके) – लश्कर-ए-तैयबा का प्रमुख प्रशिक्षण शिविर।
4. Sialkot (सियालकोट) – नियंत्रण रेखा से करीब 40 KM दूर स्थित यह अड्डा आतंकियों की घुसपैठ की योजना बनाने में प्रयोग होता था।
पीओके के अंदर
1. Muzaffarabad (मुझफ्फराबाद) – पीओके में जैश की गतिविधियों का केंद्र।
2. Chakothi (चकोठी) – LOC के बेहद पास, आतंकियों का लॉजिस्टिक बेस।
3. Neelum Valley (नीलम वैली) – सुरंगों में छिपे प्रशिक्षण कैंप।
4. Rawalakot (रावलकोट) – आतंकी नेताओं की बैठकें यहीं होती थीं।
5. Kotli (कोटली) – हाल ही में बनी आतंकी भर्ती की नई यूनिट।
100 किलोमीटर अंदर तक घुसी भारतीय वायुसेना
इस स्ट्राइक की सबसे बड़ी खासियत यह रही कि भारतीय वायुसेना पाकिस्तान की सीमा में 100 किलोमीटर से अधिक अंदर तक घुसकर सटीक हमले करने में सफल रही। मिराज 2000 और सुखोई जैसे आधुनिक फाइटर जेट्स ने टारगेट पर सटीकता से बमबारी की। DRDO द्वारा विकसित स्पाइस-2000 जैसी स्मार्ट बमों का उपयोग किया गया जिससे कोलैटरल डैमेज लगभग शून्य रहा।
पाकिस्तान की प्रतिक्रिया
पाकिस्तान सरकार ने शुरू में हमले से इनकार किया, लेकिन बाद में आंशिक रूप से कुछ विस्फोटों की पुष्टि की। हालांकि, उन्होंने हताहतों की संख्या या नुकसान की विस्तृत जानकारी देने से इनकार किया। वहीं, भारतीय सेना ने स्पष्ट किया कि ऑपरेशन का मकसद आतंक के ठिकानों को खत्म करना था, न कि किसी आम नागरिक को नुकसान पहुंचाना।