उत्तर प्रदेश की राजनीति में एक नया मोड़ तब आया जब भीम आर्मी प्रमुख और आजाद समाज पार्टी के नेता चंद्रशेखर आजाद ने जेल में बंद समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता आज़म खान से मुलाकात की। यह मुलाकात राजनीतिक गलियारों में चर्चा का विषय बन गई है।
चंद्रशेखर आजाद ने कहा कि यह मुलाकात मानवीय आधार पर थी। उन्होंने आज़म खान की कानूनी स्थिति और उनकी सेहत के बारे में जानकारी ली। हालांकि, इस मुलाकात को राजनीतिक गठजोड़ की संभावनाओं से जोड़कर देखा जा रहा है।
विशेषज्ञों का मानना है कि यह मुलाकात राज्य की राजनीति में बड़े बदलाव का संकेत हो सकती है। चंद्रशेखर आजाद दलित और पिछड़े वर्ग के लिए आवाज उठाते रहे हैं, जबकि आज़म खान का मुस्लिम समुदाय में बड़ा जनाधार है।
मुलाकात के बाद चंद्रशेखर ने कहा, “मैं अन्याय के खिलाफ हमेशा खड़ा रहूंगा। आज़म खान को झूठे मामलों में फंसाया गया है, और उन्हें न्याय मिलना चाहिए।”
समाजवादी पार्टी ने इस मुलाकात पर कोई औपचारिक बयान नहीं दिया है, लेकिन अंदरखाने में इसे आगामी चुनावों के लिए संभावित गठजोड़ के संकेत के रूप में देखा जा रहा है।
विशेषज्ञों का मानना है कि चंद्रशेखर और आज़म खान की यह नजदीकी विपक्षी दलों को एकजुट करने का संकेत हो सकती है। आगामी विधानसभा चुनावों में यह गठजोड़ बीजेपी के लिए चुनौती बन सकता है।